- जल जनित बीमारियों व कोरोना से बचाव पर दी गयी जानकारी
- आवश्यक दवाओं का किया गया वितरण
- कोविड-19 से बचाव व सावधानियों पर दी गयी परामर्श
- बच्चों व महिलाओं की टीकाकरण पर हुई चर्चा
गोपालगंज : जिले के बाढ़ प्रभावित प्रखंडों बैकुंठपुर और कुचायकोट में स्वास्थ्य विभाग और यूनिसेफ बीएमसी के द्वारा विशेष कैंप का आयोजन किया गया। बैकुंठपुर के ब्रहम्पुर पखा बांध पर बाढ़ प्रभावित लोगों को जल जनित बीमारियों से बचाव तथा कोविड-19 के संक्रमण से बचाव की जानकारियों पर चर्चा की गयी। साथ हीं बाढ़ प्रभावित क्षेत्र में जल जनित बीमारियों से बचाव को लेकर लेकर विशेष रूप से लोगों की काउंसलिंग भी की गयी। मेडिकल टीम के द्वारा ग्रामीणों के बीच जरूरी दवाओं का भी नि:शुल्क वितरण किया गया तथा उनका स्वास्थ्य जांच भी किया गया।
यूनिसेफ के जिला समन्वयक रूबी कुमारी ने बताया ग्रामीणों को बताया गया कि जहां वह रह रहें हैं, वहां साफ-सफाई का विशेष ख्याल रखें। नियमित रूप से ब्लिचिंग पाउडर का छिड़काव करें इसके लिए स्वास्थ्य विभाग की ओर ब्लिचिंग पाउडर का भी वितरण किया जा रहा है। बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में साफ पानी के लिए क्लोरीन की गोलियां और अन्य आवश्यक दवाओं की उपलब्धता सुनिश्चित की गयी है। फिलहाल किसी भी इलाके से जल जनित बीमारी के फैलाव की सूचना नहीं है मगर एहतियातन तैयारी पूरी है।
कुचायकोट में बच्चों व गर्भवती महिलाओं का टीकाकरण
विशेष कैंप के दौरान कुचायकोट प्रखंड के बाढ़ प्रभावित इलाकों में बच्चों व गर्भवती महिलाओं का टीकाकरण किया गया। यूनिसेफ एसएमसी रूबी कुमारी ने बताया बाढ़ के कारण यहां पर नियमित टीकाकरण का कार्य प्रभावित हो रहा है, जिसको ध्यान में रखते हुए विशेष कैंप लगाकर टीकाकरण किया जा रहा है। साथ हीं साथ बैकुंठपुर में भी टीकाकरण को लेकर प्लान तैयार किया जा रहा है। टीकाकरण से कई तरह के बिमारियों से बचाव संभव है। इससे बच्चों में रोग प्रतिरोधक क्षमता विकास होता है।
हर प्रखंड में जीवन रक्षक दवा उपलब्ध
सिविल सर्जन डॉ. टीएन सिंह ने बताया बाढ़ से निबटने के लिए हर प्रखंड को जीवन रक्षक दवाएं उपलब्ध करा दी गई। इसमें खासकर जल जनित बीमारी से जुड़ी दवाओं को प्रमुखता से सभी अस्पतालों को भेज दी गयी है। अस्पताल व मेडिकल कैंप में सर्पदंश, एआरवी, ओआरएस, दस्त व डायरिया, उल्टी, बुखार, खांसी के अलावे कोविड 19 से जुड़ी दवाएं भी स्टॉक की गई है।
इन बातों का रखें खास ख्याल
- चापाकल के पानी को सेवन के पूर्व इसे अवश्य गर्म करें।
- चापाकल में क्लोरीन की गोली डाले आसपास ब्लीचिग का छिड़काव करें।
- सर्दी जुकाम व बदन दर्द की शिकायत पर तुरंत चिकित्सक की सलाह लें
- लंबे समय तक बुखार रहने पर चिकित्सक के परामर्श के अनुसार जांच करवाएं
- बिना चिकित्सक के सलाह के दवा व एंटीबायोटिक की खुराक न लें
- आसपास के क्षेत्र को साफ-सुथरा व स्वच्छ रखें
- पानी जमा होने वाले स्थान पर डीडीटी व किरोसिन का छिड़काव करें।
- जलजमाव वाले क्षेत्र का पानी पीने से परहेज करें।