• नियमित रूप से होगी जिला स्तरीय टास्क फोर्स
• जीविका और जनप्रतिनिधियों का लिया जायेगा सहयोग
• अति संवेदनशील आबादी वाले क्षेत्रों में विशेष फोकस
छपरा: जिले में कोविड टीकाकरण की तमाम चुनौतियों के बीच नियमित टीकाकरण को सुदृढ़ करने के लिए स्वास्थ्य विभाग प्रतिबद्ध है। इसको लेकर प्रयास जारी है। नियमित टीकाकरण व सर्विलांस को सुदृढ़ करने को लेकर राज्य स्वास्थ्य समिति के कार्यपालक निदेशक संजय कुमार सिंह ने पत्र जारी कर आवश्यक दिशा-निर्देश दिया है।
पत्र में कहा गया है कि राज्य स्तर पर सभी जिलों के नियमित टीकाकरण के आच्छादन एवं खसरा-वीपीडी के सर्विलेंस के डाटा की समीक्षा की गई, जिसमें जिलों एवं प्रखंडों में नियमित टीकाकरण एवं सर्विलेन्स के कार्य में सुदृढीकरण की आवश्यकता है। नियमित समीक्षात्मक बैठक, जिला स्तरीय टास्क फोर्स, जिला स्तरीय साप्ताहिक समीक्षात्मक बैठक एवं ब्लॉक स्तरीय टास्क फोर्स, ब्लॉक स्तरीय समीक्षात्मक बैठक का नियमित रूप से आयोजन किया जाय। मासिक आधार पर हेडकाउन्ट सर्वे एवं ड्यू लिस्ट की नियमित समीक्षा की जाय एवं इसके अनुसार आवश्यक कार्रवाई की जाय। माइक्रोप्लान डिजिटल, नियमित टीकाकरण माइक्रोप्लान की नियमित समीक्षा हेडकाउन्ट सर्वे एवं ड्यू लिस्ट के आधार पर की जाय तथा नियमित रूप से इसे अद्यतन किया जाय।
अति संवेदनशील आबादी वाले क्षेत्रों में विशेष फोकस:
जारी पत्र में कहा गया है कि अति संवेदनशील आबादी वाले क्षेत्रों यथा घुमन्तु ईंट भट्ठा, दुर्गम एवं दूरस्थ स्थल, शहर के पास वाले इलाके एवं बाढ़ ग्रस्त इलाकों पर विशेष ध्यान दिया जाय। सर्विलेन्स कार्यशाला का आयोजन जिला स्तर पर सदर अस्पताल, आईएमए के सदस्यों के लिए सर्विलेन्स संबंधित कार्यशाला आयोजित की जाए । जिला स्तर पर आवश्यकतानुसार चिकित्सा पदाधिकारी एवं ए०एन०एम० का प्रशिक्षण कराया जाय।
मोबिलाइजर के रूप में कोचिड 19 टीकाकरण के तहत चिह्नित इन्फ्लुएंसर का उपयोग:
शून्य खुराक, ऐसे बच्चे जिनको पेंटा-1 की खुराक एक वर्ष तक नहीं दी गई है। . ऐसे अप्रतिरक्षित बच्चों को चिह्नित कर प्राथमिकता के आधार पर प्रतिरक्षित कराया जाय। इस हेतु पूर्व में चिह्नित कोविड टीकाकरण स्थल का उपयोग नियमित टीकाकरण सत्र स्थल के रूप में अप्रतिरक्षित बच्चों के प्रतिरक्षण हेतु किया जा सकता है । नियमित टीकाकरण के लिए मोबिलाइजर के रूप में कोविड 19 टीकाकरण के तहत चिह्नित इन्फ्लुएंसर का उपयोग किया जा सकता है ।
जीविका और जनप्रतिनिधियों का लिया जायेगा सहयोग:
कार्यपालक निदेशक ने निर्देश दिया है कि स्थानीय स्तर पर अन्य विभागों का सहयोग जैसे आईसीडीएस, जीविका, पीआरआई, शिक्षा विभाग तथा महिला आरोग्य समिति का शहरी क्षेत्रों में सहयोग लिया जायेगा। प्रखंड स्तर पर सर्विलेन्स कार्यशाला, चिकित्सा पदाधिकारी, स्वास्थ्य कार्यकर्ता एवं आशा, एएनएम, आंगनबाड़ी तथा ग्रामीण चिकित्सकों के लिए की जायेगी ।