- विभाग की उदासीनता से आठ वर्ष बाद नामकरण नहीं
- बच्चों के उज्ज्वल भविष्य के लिए सरकार को दी थी भूमि दान में
✍️ परवेज अख्तर/सिवान: रघुनाथपुर शिक्षित समाज की कल्पना कर प्रखंड के नवादा निवासी नर्वदेश्वर बाबू के पुत्र अजीत सिंह ने 2015 में अपनी 27 कट्ठा भूमि विद्यालय निर्माण के लिए बिहार सरकार को दान दे दी। परिवार का उद्देश्य था कि बच्चों को शिक्षा ग्रहण में कोई कठिनाई ना आए। भूमि अधिग्रहण के बाद भवन निर्माण कराया गया। विद्यालय में कक्षा नौ से 12 तक पढ़ाई होती है। इसमें करीब 450 बच्चे शिक्षा ग्रहण करते हैं, लेकिन अब विभाग की उदासीनता के कारण पिछले आठ वर्ष से इस विद्यालय का नामकरण नहीं होने से भूमिदाता में शिक्षा विभाग के प्रति मायूसी है। भूमिदाता बताया कि 2015 में अपने पुत्र अमितेश सिंह मेमोरियल स्कूल का नामकरण करने की इच्छा से जमीन को दान में दी थी। दान की जमीन मिलने के साथ ही मध्य विद्यालय से अपग्रेड कर उच्च विद्यालय तथा उसके बाद इंटरमीडिएट होने पर इसमें कक्षा नौ से 12 तक की पढ़ाई होने लगी है।
इसमें दियरा क्षेत्र के बच्चों को भी इंटर तक की शिक्षा ग्रहण करने में सुविधा मिल रही है। वहीं भूमिदाता के परिवार के सदस्य राकेश कुमार सिंह ने बताया कि शिक्षा विभाग की उदासीनता के कारण परिवार को न्याय नहीं मिल रहा है जो बहुत दुखद है। इसके लिए शिक्षा विभाग से संपर्क करने पर कहा जाता है कि प्रक्रिया में है। वहीं विद्यालय सह इंटर कालेज के प्रभारी मंतोष पासवान ने बताया कि नई जमीन पर भवन बनने से कक्षा नौ से 12 वीं तक बच्चों की पठन-पाठन में सहूलियत मिल रही है। कालेज के नामकरण के लिए विभाग को प्रस्ताव भेजा गया है। बीईओ मीना कुमारी ने बताई कि भूमि दाता के नाम से विद्यालय नामकरण का कोई प्रावधान नहीं है।