- 22 दिसंबर को महाराजगंज थाने सुशील ने दर्ज करायी थी लूट की प्राथमिकी
- एटीएम में ही रुपये छूपा कर रखा था फ्रेंचाइजी कर्मी
✍️परवेज अख्तर/सिवान: एटीएम में रुपये भरनेवाले फ्रेंचाइजी कंपनी के कर्मी सुशील को रुपयों के लालच ने अपराधी बना दिया.लिहाजा चार दिन पूर्व 20 लाख रुपये लूट की कहानी खुद गढ़ डाली तथा लूट की शिकायत को लेकर थाने में पहुंच गया.हालांकि पुलिस के तफ्तीश में यह झूठी कहानी अधिक दिन तक नहीं टिक पायी.मंगलवार को पुलिस अधीक्षक शैलेश कुमार सिन्हा ने कांड का खुलासा करते हुए रुपये भी बरामद कर लिया.22 दिसंबर की संध्या तकरीबन 06:30 बजे महाराजगंज थाना क्षेत्र के तकीपुर – बगौछा के बीच स्थित बजरंग बली स्थान के पास बाइक सवार दो अपराधियों के दरौंदा थाना क्षेत्र के मदनपुर गांव निवासी शिवप्रसाद के पुत्र सुशील कुमार से 20 लाख रुपये की लूट की घटना सामने आयी थी.
पुलिस को सुशील ने बताया था कि महाराजगंज स्थित एक्सिस बैंक से रुपये की निकासी कर सारण जिले की जनता बाजार इंडिया – 1 एटीएम में डालने जा रहे थे तभी यह घटना घटित हुई थी. इसके बाद अपराधी रुपये से भरा बैग, मोबाइल छीन कर भीखाबांध की ओर फरार हो गये थे. जिसमें पीड़ित सुशील कुमार के द्वारा महाराजगंज थाना में कांड संख्या 354/23 दर्ज कराया था.इसका खुलाशा करते हुए पुलिस अधीक्षक शैलेश कुमार सिन्हा ने प्रेसवार्ता कर बताया कि महाराजगंज एसडीपीओ के नेतृत्व में एक विशेष टीम का गठन किया गया और पुलिस अनुसंधान कर रही थी.
अनुसंधान के क्रम में पुलिस ने सीसीटीवी फुटेज और तकनीकी साक्ष्य के आधार पर यह पाया कि सुशील कुमार से 20 लाख रुपए की लूट नहीं हुई थी . पूछताछ के क्रम में सुशील ने पुलिस को बताया कि पूर्व से ही अनुबंध के अनुसार निर्धारित किये गये रकम से कम से कम पैसे एटीएम में डाला जा रहा था तथा बचे पैसे का गबन कर अपने उपयोग में खर्च किया जा रहा था और हाल ही में ऑडिट होने वाला था. जिससे बचने के लिये गबन किये गये रुपये को हड़पने की उद्देश्य से यह लूट की झूठी घटना बताकर कांड दर्ज कराया.
एटीएम में रूपये डालने के बाद रची थी लूट की कहानी
पुलिस अधीक्षक ने यह भी बताया की सुशील ने एक्सिस बैंक से 20 लाख रुपये निकासी करने के बाद वह सारण जिले के जनता बाजार स्थित इंडिया- 1एटीएम में रुपये डाल दिया था,लेकिन निकासी के लिये एक्टिवेट की प्रक्रिया जानबूझकर पूरा नहीं किया था. इसके बाद पुनः वापस आने के क्रम में उसने यह लूट की कहानी रची थी. उसने स्वीकार की यदि पुलिस रुपये के लिये छापेमारी करती तो रुपये पकड़ा जाता .जिसके चलते में एटीएम में रुपये डाल दिया और इसकी सूचना बैंक को नहीं दिया. जिसके कारण एटीएम एक्टिवेट नहीं हो सका.मैं अगले दिन जाकर एटीएम से रुपये निकाल लेता तब तक पुलिस ने मुझे हिरासत में लेकर पूछताछ करने लगी. जिसमें यह उद्भेदन हो गया.
जनता बाजार एटीएम से पुलिस ने किया बैग बरामद
सुशील के निशानदेही पर रुपये वाला बैग भी पुलिस ने जनता बाजार स्थित इंडिया वन एटीएम के कमरे से बरामद किया है.उसने यह भी बताया की उसने अपना मोबाइल भी कही बंद कर फेक दिया था.यही नहीं इसी ने पुलिस को भी सीसीटीवी फुटेज भी उपलब्ध कराया था ताकि हम बच सके.
आर्थिक तंगी से परेशान था सुशील
सुशील ने बताया कि मैं डिसटीवी लगाने और एटीएम में रूपये डालने का काम करता हूं. एटीएम में रुपये डालने के लिये मुझे 35 हजार रूपये प्रतिमाह मिलती है.उसके बावजूद भी मैं आर्थिक तंगी से परेशान था और 20 लाख रूपये देख कर मुझे लालच आ गया .जिसके बाद मैंने लूट की कहानी रचा.पुलिस अधीक्षक ने कहा कि रुपये बरामदगी के बाद कोई विधिक कार्रवाई नहीं की जा रही है.फ्रेंचाइजी कंपनी के अधिकारी अगर इस मामले में कोई आवेदन देते हैं, तो आवश्यकतानुसार कार्रवाई की जायेगी.