… और ‘दिल ये बेचैन रहने लगा आज कल, ये न पूछो की इस दिल को क्या चाहिए’

0
  • जामिया इस्लामिया दारूल-उलूम मदरसा बाघड़ा में चार कुराने हिफ़्ज़ छात्रों का हुआ दस्तारबंदी
  • दस्तारबंदी के पूर्व अजिमुशान कॉन्फ्रेंस का हुआ आयोजन
  • कई नामी-गिरामी ओलमा व सोअराओ ने लिया हिस्सा

परवेज़ अख्तर/सिवान: सदर प्रखंड के जामिया इस्लामिया दारूल-उलूम मदरसा बाघड़ा में रविवार को बड़े ही धूम-धाम से मदरसे में पढ़ने वाले चार कुराने हिफ़्ज़ छात्रों का दस्तारबंदी की गई। इस दौरान क्षेत्र के काफी संख्या में लोग उपस्थित हुए। आयोजित दस्तारबंदी के पूर्व एक अजिमुशान कॉन्फ्रेंस का आयोजन किया गया। आयोजित कॉन्फ्रेंस में कई नामी-गिरामी ओलमा व सोअराओ ने हिस्सा लिया। उपस्थित सोअराओ ने लोगों को कुरान शरीफ के बारे में विधिवत रूप से जानकारी दी। इस दौरान उपस्थित शायर कारी बुरहान रजा फैजी ने अपनेेेे नातिया पाक के दौरान पढ़ा की “दिल ये बेचैन रहने लगा आज कल, ये न पूछो की इस दिल को क्या चाहिए न दवा चाहिए न सिफ़ा, रौज-ए मुस्तफा का हवा चाहिए” उक्त शायर के चंद आसार सुनते ही उपस्थित लोग झूम उठे। इनके अलावा मौलाना अजहरुल कादरी (सीतामढ़ी), मौलाना असलम साहब (सिवान), मौलाना इरशाद खान बरकाती, मौलाना नूरुल होदा , हाफिज इरशाद खान, कारी महमूद साहब, अजीज रज़ा कादरी समेत अन्य ओलमा व सोअराओ ने हिस्सा लिया।

विज्ञापन
pervej akhtar siwan online
WhatsApp Image 2023-10-11 at 9.50.09 PM
WhatsApp Image 2023-10-30 at 10.35.50 AM
WhatsApp Image 2023-10-30 at 10.35.51 AM
ahmadali

मदरसे के संचालक हाफिज मुजीबुर्र रहमान साहब ने बताया कि इस मौके पर चार कुराने हिफ़्ज़ करने वाले छात्रों को दस्तारबंदी की गई। जिसमें क्रमशः हाफिज वसीम अकरम (मकरियार, सिवान), हाफिज अहमद रजा, (कुतुब छपरा, सिवान) , हाफिज मोहम्मद रिजवान अहमद (कुशीनगर, उत्तर प्रदेश) , तथा हाफिज गुलाम दस्तगीर (नेपाल) शामिल थे। हाफिज मुजीबुर्र रहमान साहब ने आगे बताया कि उक्त मदरसा में बिहार के अलावा अन्य राज्यों के गरीब यतीम बच्चे को मुफ्त में शिक्षा दी जाती है तथा शिक्षा मुकम्मल होने के बाद दस्तारबंदी कर उन्हें मदरसे से छुट्टी दे दी जाती है। इस मौके पर सदर राजद विधायक श्री अवध बिहारी चौधरी, जेडीयू के वरिष्ठ नेता मंसूर आलम, पूर्व जिला परिषद रिजवान अहमद, फ़ैयाज़ अहमद, अब्दुल मतीन, अख्तर अली, वाहिद हुसैन, छोटकून खान, कौसर खान, समेत कई लोगों ने बढ़ चढ़कर हिस्सा लेकर हौसला अफजाई की। अंत में मदरसे के संचालक हाफीज मुजीबर्र रहमान साहब ने उपस्थित लोगों का इस्तकबाल किया।

olma