- सिविल सर्जन व डब्ल्यूएचओ की टीम ने पल्स पोलियो अभियान की मॉनिटरिंग
- कई प्रखंडों का दौरा कर डोर टू डोर टीम से अभियान के बारे में ली जानकारी
- सोशल मीडिया पर वायरल मैसेज के कारण कुछ लोगों ने पोलियो की दवा पिलाने से किया इनकार
- डब्ल्यूएचओ के एसएमओ ने लोगों को जागरूक कर दवा पिलाने के लिए किया सहमत
सिवान: जिले में पांच दिवसीय पल्स पोलियो अभियान की शुरुआत की गई है। जिसके तहत टीम घर-घर जाकर 0 से 5 साल के बच्चों को पोलियो की खुराक पिला रही है । इस बीच सोशल मीडिया के माध्यम से एक ऑडियो मैसेज वायरल किया गया है, जिसमें लोगों को अपने बच्चों को दवा नहीं पिलाने की अपील की गई है। जिसके बाद जिले के कई जगहों पर लोगों ने अपने बच्चों को दवा पिलाने से इनकार कर दिया। इसके बाद स्वास्थ्य विभाग व विश्व स्वास्थ संगठन की टीम उस गांव में पहुंची और लोगों को समझाया कि दवा में किसी प्रकार की कोई गड़बड़ी नहीं है। पोलियो की दवा पूरी तरह से सुरक्षित है।
डब्ल्यूएचओ के एसएमओ डॉ शैली गोखले ने बताया जिले के सिसवन प्रखंड के कुछ गांवों से सूचना मिली थी कि लोगों ने अपने बच्चों को दवा पिलाने से इनकार कर दिया है। जिसके बाद डब्ल्यूएचओ के सीएमओ डॉ शैली गोखले उस गांव में पहुंची और लोगों से बातचीत कर इस बात की जानकारी दी कि पोलियो की दवा पूरी तरह से सुरक्षित है। किसी तरह के भी अफवाह पर ध्यान देने की जरूरत नहीं है। सोशल मीडिया पर वायरल हुए मैसेज पूरी तरह से गलत है। इस अफवाह से बचने की जरूरत है और अपने बच्चों को बेहतर स्वास्थ्य के लिए पोलियो का खुराक पिलाना बहुत ही जरूरी है। इसलिए आप अपने बच्चों को पोलियो की खुराक जरूर पिलाएं। साथ ही उन्होंने कहा हम सबकी जिम्मेदारी है कि इस वायरल मैसेज के खिलाफ अपने आसपास में जागरूकता फैलाएं और लोगों को बताएं कि जो मैसेज वायरल हो रहा है वह गलत है एवं इस पर ध्यान देने की जरूरत नहीं है। समझाने के बाद लोग अपने बच्चों को पोलियो की दवा पिलाने के लिए सहमत हुए और उसके बाद टीम ने उस गांव के सभी बच्चों को पोलियो की दवा पिलाई।
सिविल सर्जन ने किया अभियान की मॉनिटरिंग
पांच दिवसीय पल्स पोलियो अभियान की मॉनिटरिंग जिला व प्रखंड स्तर तक के पदाधिकारियों के द्वारा लगातार की जा रही है। शत-प्रतिशत लक्ष्य को हासिल करने के लिए स्वास्थ्य विभाग कृत संकल्पित है और इसके लिए पूरी टीम काफी मेहनत से अपने कर्तव्य को निभा रही है। सिविल सर्जन डॉक्टर यदुवंश कुमार शर्मा व डब्ल्यूएचओ के एसएमओ डॉक्टर शैली गोखले के द्वारा बड़हरिया प्रखंड में डोर टू डोर पल्स पोलियो अभियान की मॉनिटरिंग की गई। टीम से सिविल सर्जन ने फीडबैक लिया व अन्य लोगों से भी जानकारी लिया कि आपके बच्चों को पोलियो की दवा पिलाई गई है या नहीं। इस दौरान सीएस ने आमजनों से भी अपील की कि अपने बच्चों को पोलियो की दवा जरूर पिलाएं, ताकि इस खतरनाक बीमारी से बच्चों को बचाया जा सके। सिविल सर्जन ने कहा कि पोलियो अभियान की जिला व प्रखंड स्तर पर मॉनिटरिंग की जा रही है। प्रतिदिन शाम में इसकी बैठक कर रिपोर्ट संग्रहित किया जा रहा है।
ये टीम कर रही है काम
जिले में पल्स पोलियो अभियान को सफल बनाने के लिए टीम का गठन किया गया है। जिसमें 1302 डोर टू डोर टीम, 148 ट्रांजिट टीम, 35 मोबाइल टीम, 475 सुपरवाइजर को इस कार्य में लगाया गया है।
सभी को मास्क व ग्लोब्स पहनना अनिवार्य
सिविल सर्जन ने कहा कि पल्स पोलियो अभियान के दौरान कोविड-19 से बचाव के लिए जारी प्रोटोकॉल का पूरा ख्याल रखा जा रहा है। सभी कर्मियों को क्या आदेश दिया गया है कि किसी भी परिस्थिति में प्रोटोकॉल का उल्लंघन नहीं किया जाए। अभियान के दौरान सभी को मास्क व ग्लोब्स का इस्तेमाल, शारीरिक दूरी का पालन करना अनिवार्य है। सभी कर्मियों को मास्क, ग्लोब्स व सैनिटाइजर उपलब्ध कराया गया है।