- नौनिहालों को पोलियो की दवा जरूर पिलाएं
- जिले में शुरू हुआ पांच दिवसीय पल्स पोलियो अभियान
- आशा कार्यकर्ता और आंगनबाड़ी सेविका घर-घर जाकर पिलायेंगी दवा
छपरा: पोलियो की दो बूंद दवा बच्चों के लिए बहुत जरूरी है। प्रत्येक माता-पिता को हर संभव प्रयास करना चाहिए कि अपने बच्चों को पोलियो की दवा अवश्य पिलाएं। जिससे कि उनका बच्चा स्वस्थ व निरोगी जीवन व्यतीत कर सके। उक्त बातें जिला प्रतिरक्षण पदाधिकारी डॉ. चंदेश्वर सिंह ने सदर अस्पताल में पोलियो अभियान की शुरूआत करते हुए कही।
उन्होने कहा कि पोलियो की दो बूंद बच्चों को पोलियो जैसे गंभीर रोग से बचाएगा। प्रत्येक इंसान की नैतिक जिम्मेदारी है कि अपने और समुदाय के पांच वर्ष से कम आयु के नौनिहालों को पोलियो की दवा जरूर पिलाएं। अभियान के तहत 653372 घरों को लक्षित किया गया है। 572880 बच्चों को दवा पिलाने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है। इसके लिए 543 सुपरवाइजर, 36 मोबाइल टीम, 1478 हाउस टू हाउस टीम, 272 ट्रांजिट टीम लगाया गया है।
धार्मिक व ऐतिहासिक स्थलों पर लगेगा विशेष कैम्प:
डीआईओ ने बताया कि पोलियो एक लकवाग्रस्त वायरस जनित रोग है। बच्चों में प्रतिरोधक क्षमता कम होने के कारण उसे पोलियो होने की सम्भावना ज्यादा है।यह बीमारी विशेष रूप से रीढ़ के हिस्सों व मस्तिष्क को ज्यादा नुकसान पहुँचाता है। इससे बचाव के लिए लोगों को अपने बच्चों को पोलियो की दवा जरूर पिलानी चाहिए। पोलियो ड्रॉप के साथ बच्चों को संपूर्ण टीकाकरण भी करवाना चाहिए जो 12 जानलेवा बीमारियों से बचाए रखता है। पल्स पोलियो टीकाकरण के लक्ष्य को शत प्रतिशत पूरा करने के लिए शहर के विभिन्न धार्मिक स्थलों, ऐतिहासिक स्थलों एवं पार्कों में विशेष पोलियो टीकाकरण कैंप लगाया जाएगा। शहर के कुछ खास स्थलों पर लोगों की काफी भीड़ देखी जाती जिसमें छोटे बच्चे भी शामिल होते हैं। वैसे स्थलों पर अभियान चलाया जाएगा। इसके लिए स्थल भी चिह्नित कर लिए गए हैं। अभियान के दौरान स्वाथ्यकर्मी लोगों के घरों तक जा कर बच्चों को पोलियो की खुराक पिलाएंगे ।
0 से 5 साल के बच्चे को पिलाएं खुराक: सिविल सर्जन
पोलियो एक खतरनाक बीमारी है जिससे बचाव के लिए अभियान चलाकर पोलियो की दो बूंद खुराक 0 से 5 वर्ष के बच्चों को पिलाई जाती है। इस दौरान जिले के सभी लोग अपने बच्चों को पोलियो की दो बूंद खुराक जरूर पिलाएं, ताकि पोलियो होने की संभावनाओं को खत्म किया जा सके। इस अभियान में डब्ल्यूएचओ, यूनिसेफ, केयर इंडिया सहित अन्य सहयोगी संस्थाएं अहम योगदान निभाएंगे। इस मौके पर डीआईओ डॉ. चंदेश्वर सिंह, डीपीएम अरविन्द कुमार, डीसीएस डॉ. एसडी सिंह, यूनिसेफ के जिला समन्वयक आरती त्रिपाठी, डब्ल्यूएचओ के एसएमओ डॉ. रंजितेश कुमार समेत अन्य मौजूद थे।