परवेज अख्तर/सीवान:- जिले के सोन्धानी गांव के मनोज दूबे की एक वर्षीय पुत्री सुजाता की जेई (जपानी इंफेंटलाइटिस) की सूई देने से हुई मौत को लेकर लगाए आरोपों की जांच के लिए गुरुवार को स्वास्थ्य विभाग की जिला और प्रखंड की टीम पीड़ित के घर पहुंची। इस मामले को लेकर अखबारों में छपी खबर पर संज्ञान लेते हुए सीएस के निर्देश पर जिला प्रतिरक्षण पदाधिकारी डॉ. प्रमोद कुमार पाण्डेय, प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी डॉ. अनिल कुमार, हेल्थ मैनेजर गुलाम रब्बानी, डब्ल्यूएचओ मॉनिटर भृगुनाथ ठाकुर, जिला से आए डाटा सहायक अशोक कुमार शर्मा ने पीड़ित परिवार के घर जाकर मृत बच्ची के घरवालों से पूछताछ कर जानकारियां लीं। टीम ने अगल-बगल के अन्य प्रभावित परिवारों व ग्रामीणों से इस मामले को लेकर पूछताछ की। इसके पहले जांच टीम ने सीएचसी में टीकाकरण से संबंधित अभिलेखों को खंगाला और इससे संबंधित कर्मियों से पूछताछ की। जांच टीम का नेतृत्व कर रहे डीआईओ डॉ. पाण्डेय ने कहा कि 17 से 20 जुलाई तक विटामिन ए की खुराक पिलाने का कार्यक्रम निर्धारित था। लेकिन इस मामले में 18 जून को आशा कार्यकर्ता द्वारा जेई का गलत टीका (सूई) देने से दूसरे दिन 19 जुलाई को बच्ची की मौत होने का आरोप लगाया गया है। डॉ. पाण्डेय ने कहा कि आरोपित आशा कार्यकर्ता श्रीमन्ती देवी के छुट्टी पर होने के कारण उसका पक्ष नहीं लिया जा सका है। वहीं ऐन वक्त पर एएनएम सुमन कुमारी का 19 जुलाई को ट्रांसफर हो जाने के कारण उनका भी पक्ष नहीं लिया जा सका है। कहा कि इन दोनों का पक्ष जानने के बाद हीं कोई निष्कर्ष निकाला जा सकता है।
सोन्धानी में सूई देने से हुई मौत की टीम ने की जांच
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