परवेज अख्तर/सिवान: जिले के गुठनी प्रखंड मुख्यालय स्थित मुख्य डाकघर सिर्फ नाम के लिए रह गया है। इसमें कोई भी सेवा सुचारू रूप से नहीं चलता है। साथ ही यहां के कर्मचारी समय से नहीं आते हैं। ग्रामीणों का कहना है कि यहां पर बुनियादी सुविधाओं का घोर अभाव है। विगत दो सालों से स्पीड पोस्ट की सेवा पूर्णतया बंद है। इस कारण लोगों को का पेरशानी का सामना करना पड़ रहा है। यहां स्पीड पोस्ट, रजिस्टर्ड पोस्ट, ग्रामीण जीवन बीमा, डाक जीवन बीमा, बचत खाता, आवर्ती खाता, एमआइएस एकाउंट, किसान विकास पत्र, राष्ट्रीय बचत पत्र, टर्म डिपाजिट समेत सभी कार्य किया जाता था, लेकिन पिछले कुछ दिनों से इनमें से अधिकांश कार्य बिल्कुल बंद हो गए हैं। ग्रामीण मुकेश पांडेय, वृंदा शुक्ल, अमित कुमार, विशाल कुमार, राजेश कुमार, राहुल कुमार, शुभम मिश्रा, कन्हैया कुमार समेत सैकड़ों युवकों ने डाक विभाग पर लापरवाही बरतने का आरोप लगाया है।
आधुनिकीकरण और कंप्यूटरीकरण के नाम पर लगातार शोषण किया जा रहा :
मुख्यालय स्थित डाकघर में असुविधाओं का यह आलम कि इसके उपभोक्ताओं को उनके खाते तक की जानकारी समय से नहीं मिल पाती है। वहीं सुकन्या योजना में जमा पैसे का उपभोक्ताओं का इंट्रेस्ट न मिलना भी गड़बड़ झाला की तरफ इंगित करता है। लोगों का आरोप है कि आधुनिकीकरण और कंप्यूटरीकरण के नाम पर लगातार शोषण किया जा रहा है। जिसपर विभाग के वरीय अधिकारियों की नजर तक नहीं पड़ी। इस संबंध में डाकपाल अमित आनंद ने बताया कि गुठनी शाखा को पूर्णतः कंप्यूटरीकृत किया जा रहा है जिससे सभी सेवाएं बंद हैं। करीब एक महीने में कोर बैंकिंग सेवा समेत आनलाइन सभी कार्य शुरू कर दिए जाएंगे।