- मुखिया की हत्या के बाद गुस्साए आक्रोशितों ने किया सड़क जाम
- घटना के बाद घण्टों सिवान-पैगंबरपुर मुख्य पथ रहा जाम
- आक्रोशित ग्रामीणों ने प्रशासन के खिलाफ जमकर की नारेबाजी
- आक्रोशित ग्रामीण पुलिस पर क्षेत्र में गश्त नहीं करने का लगाया आरोप
- घटनास्थल पर एसपी को बुलाने, पुलिस चौकी बनाने तथा अपराधियों के विरुद्ध कार्रवाई करने की मांग पर अड़े रहे आक्रोशित
- जाम की सूचना पर महाराजगंज एसडीपीओ पोलस्त कुमार पहुँच आक्रोशितों को दी आश्वासन,तब जाकर हुआ मामला शांत
परवेज़ अख्तर/सिवान:
जिले के दरौदा थाना क्षेत्र के करसौत पुल के समीप महाराजगंज प्रखंड के बलऊं पंचायत के मुखिया सुनील सिंह उर्फ दहारी सिंह की दिनदहाड़े गोली मारकर हत्या से आक्रोशित ग्रामीणों ने रविवार को सिवान-पैगंबरपुर मुख्य पथ को जाम कर दिया। इस दौरान आक्रोशित ग्रामीणों ने प्रशासन के खिलाफ जमकर नारेबाजी की। ग्रामीण पुलिस पर क्षेत्र में गश्त नहीं करने का आरोप लगा रहे थे। घटनास्थल पर एसपी को बुलाने, पुलिस चौकी बनाने तथा अपराधियों के विरुद्ध कार्रवाई करने की मांग कर रहे थे। जाम की सूचना पर महाराजगंज एसडीपीओ पोलस्त कुमार, थानाध्यक्ष अजीत कुमार सिंह, महाराजगंज थानाध्यक्ष दयानंद सिंह, इंस्पेक्टर बालेश्वर राय आदि पुलिस बल के साथ पहुंचकर ग्रामीणों को समझाने में जुटे। बाद में एसडीपीओ के समझाने बुझाने के बाद आक्रोशित ग्रामीण मान गए तब जाकर अवरुद्ध रोड को सुचारू रूप से चालू किया गया। रोड जाम के कारण दोनों तरफ वाहनों की लंबी कतार लग गई थी।
मुखिया की हत्या के बाद गांव में पसरा सन्नाटा
महाराजगंज प्रखंड के बलऊं पंचायत के मुखिया सुनील सिंह की हत्या की खबर जैसे ही गांव के लोगों को मिली। पूरे गांव में मातमी सन्नाटा पसर गया। लोग उनकी मौत की खबर सुनकर अचंभित थे। लोगों को विश्वास ही नहीं हो रहा था कि मुखिया की हत्या हुई है, लेकिन कुछ देर के ही बाद हत्या की सूचना पर गमगीन हो गए। ग्रामीणों का कहना था कि मुखिया बहुत ही मिलनसार थे। वे सब के दुख-सुख में शामिल होते थे।
पूर्व सांसद प्रभुनाथ सिंह के करीबी थे मुखिया
मुखिया सुनील सिंह पूर्व सांसद प्रभुनाथ सिंह के बहुत करीबी थे। प्रभुनाथ सिंह जब भी महाराजगंज क्षेत्र में आते थे तो मुखिया उनके साथ रहते थे। पूर्व सांसद के जेल जाने के बाद उनके पुत्र राजद नेता रणधीर सिंह के भी साथ रहते थे। मुखिया बुलेट बाइक एवं मूंछ के बहुत शौकीन थे।
तीन भाइयों में मझले थे मुखिया
मुखिया सुनील सिंह ने तीन भाइयों में माझिल थे। उनके बड़े भाई गिरवर सिंह तथा छोटे भाई उमेश सिंह का रो-रोकर बुरा हाल है। वहीं मुखिया की दो पुत्री हैं जिसमें बड़ी पुत्री सपना कुमारी की शादी तीन वर्ष पूर्व हो गई है तथा दूसरी पुत्री पुनीता कुमारी तथा एक पुत्र सुमित कुमार अभी पढ़ाई कर रहे हैं। घटना के बाद पत्नी प्रतिमा देवी, मां सुधा देवी समेत अन्य स्वजनों का रो-रोकर बुरा हाल है। मां व पत्नी रोते-रोते बेहोश हो जा रही थी, जिसे आसपास की महिलाएं संभाल रही थीं।
हत्या के बाद मुखिया संघ में आक्रोश, अपराधी की गिरफ्तारी की मांग
मुखिया सुनील कुमार सिंह की हत्या के बाद मुखिया संघ में काफी आक्रोश है। सभी लोग घटना की निदा कर रहे थे। मुखिया संघ के अध्यक्ष रमेश यादव, मुखिया डॉ. राजाराम राय, परमात्मा प्रसाद, वीरेंद्र प्रसाद, मंसूर आलम, सुनीता देवी, उमेश शाही, रामकृष्ण सिंह उर्फ काका,राधिका देवी, अजीत कुमार आजादी, संदीप कुमार, माधुरी राय ने संयुक्त रूप से कहा कि दिनदहाड़े मुखिया की हत्या प्रशासन के लिए चुनौती है। इस कांड में जो भी अपराधी संलिप्त हैं, उन्हें तुरंत गिरफ्तार कर कड़ी से कड़ी सजा दी जाए।
क्या कहते हैं एसडीपीओ
महाराजगंज एसडीपीओ पोलस्त कुमार ने कहा कि मुखिया हत्या कांड को लेकर गहराई पूर्वक अनुसंधान जारी है। कई तकनीकी से अपराधियों को चिन्हित कर गिरफ्तार करने का प्रयास किया जा रहा है। हर हाल में हत्या कांड में शामिल अपराधियों को गिरफ्तार कर लिया जाएगा। वैसे फिलहाल एक टीम गठित कर अपराधियों के संदिग्ध ठिकानों पर छापेमारी जारी है।