- पूछा कि चार दिन के बाद प्राथमिकी दर्ज क्यों हुई?
- वंचित होने की जानकारी होने पर बीडीओ को फटकार
परवेज अख्तर/सिवान: अनुसूचित जाति/जनजाति मामलों के डायरेक्टर संजय कुमार सिंह ने शुक्रवार को रघुनाथपुर के दलित बस्ती में जमीन विवाद को लेकर उत्पन्न हुई समस्या का फरियाद घंटों सुना। फरियादियों ने आपबीती सुनाई तो डायरेक्टर स्थानीय पुलिस और प्रशासन पर बिफर पड़े। 24 जुलाई को एक पुरानी जमीन को लेकर दोनों पक्षों में हुई मारपीट की घटना को लेकर पीड़ितों द्वारा शिकायत की गई थी। घायलों का चार दिनों तक इलाज चला था। इस मामले की देर से हुई एफआईआर पर स्थानीय थानाध्यक्ष मनोज कुमार प्रभाकर को फटकार लगाई। पूछा कि चार दिन के बाद प्राथमिकी दर्ज क्यों हुई? जबाब में थानाध्यक्ष ने कहा कि आवेदन समय से नहीं मिलने के कारण विलम्ब हुआ है।
इधर डायरेक्टर ने रघुनाथपुर दलित बस्ती के छठु मांझी से सरकारी योजनाओं के लाभ के बारे में जानकारी ली। जल-नल योजना, वृद्धा पेंशन व विधवा पेंशन आदि से कई के वंचित होने की जानकारी होने पर बीडीओ अशोक कुमार को भी फटकार लगी। बीडीओ से अनुसूचित जाति/जनजाति के लोगों की कुल संख्या पूछी। बीडीओ ने इसपर कहा कि डेढ़ माह पहले ही मेरा पोस्टिंग यहां हुआ है। इधर सीवान डीडब्लूओ सीबी रंजन से भी संतुष्ट नहीं दिखे। डायरेक्टर ने रघुनाथपुर थानाध्यक्ष को पीड़ित परिवार की सुरक्षा सुनिश्चित करने का निर्देश दिया। इस मौके पर एसडीओ रामबाबू बैठा, एसडीओपी जितेन्द्र कुमार और सीओ अशोक कुमार मिश्र थे।