- सिवान ऑनलाइन न्यूज़ ने 2 दिन पूर्व छेड़ा था चिकित्सक के विरुद्ध अभियान
- गुरुवार को पूरे दिन चिकित्सक द्वारा नहीं लिखी गई जांच व सिटी स्कैन
- परिजनों को मिली थोड़ी राहत
परवेज़ अख्तर/सिवान :- …..और जब चरखा की तरह नाचने लगे ड्यूटी के दौरान चिकित्सक, जिन्होंने अपने ड्यूटी के कार्यकाल में आज तक अपने विराजमान कुर्सी से उठकर मरीजों तक पहुंचने का नाम नहीं ले रहे थे। आम जनमानस की शिकायत पर 2 दिन पूर्व सिवान ऑनलाइन न्यूज की टीम ने सिवान सदर अस्पताल का मुआयना किया। मुआयना के क्रम में लोगों द्वारा बताई गई बातें सत्य साबित हुई। इसी को लेकर सिवान ऑनलाइन न्यूज़ ने चिकित्सक के विरुद्ध अभियान चलाना शुरू किया। सिवान ऑनलाइन न्यूज़ पर इनका करतूत उजागर होते हैं पूरे अस्पताल प्रशासन के होश उड़ गए। इसी क्रम में गुरुवार को जब इनकी ड्यूटी पड़ी तो कुर्सी पर बैठने की बात कौन कहे वे पूरे दिन सदर अस्पताल में चरखा की तरह नाचते नजर आने लगे।
अस्पताल में आए सभी मरीजों के पास जाकर बारी- बारी से उन्हें जांच करने में मशगूल रहे। छोटी-छोटी रोगों में जांच तथा सीटी स्कैन लिखने वाले चिकित्सक द्वारा गुरुवार को अपने ड्यूटी के दौरान एक भी जांच तथा सीटी स्कैन मरीजों को नहीं लिखी गई। जिससे गरीब तबके के मरीजों को बड़ी राहत मिली। अब देखना है कि इनका कार्यकलाप वही रहता है या उसमें परिवर्तन ? यह तो गर्व की बात है। यहां बताते चले कि सदर अस्पताल सिवान में पदस्थापित डॉ अरुण कुमार चौधरी के ड्यूटी के दौरान गरीब तबके के लोग काफी परेशान व हैरान रहते थे।
मरीज के परिजनों के बार-बार कहने के बावजूद भी वे अपने विराजमान कुर्सी से उठना मुनासिब नहीं समझते थे। सरकारी मुलाजिम होने के चलते परिजन कुछ नहीं बोल पा रहे थे। उनके ड्यूटी के दौरान कोई ऐसा सरकारी पूजा न होता था की जिसमें जांच तथा सीटी स्कैन इनके द्वारा न लिखी जाती थी। कारण यह था कि शहर के कई नामी-गिरामी जांच सेंटर से इनको बंधी बधाई मोटी रकम प्रत्येक जांच पर मिलती थी। लगातार छह महीना से डॉ अरुण कुमार चौधरी प्रत्येक पुर्जा पर इतना न अत्यधिक जांच व सीटी स्कैन मरीजों को लिख दिए थे कि लोगों ने इनका नामकरण सीटी स्कैन वाले चिकित्सक तक रख दिया था।