शहरकोला स्तिथ दुकान से खाना देकर लौट रहे थे घर
खाद बीज का दुकान है शहरकोला में
छितौली कला है मृतक व घायल निवासी
दुर्घटनाग्रस्त वाहन के ड्राइवर गाड़ी छोड़ फरार
परवेज़ अख्तर/सीवान :- सीवान-बसन्तपुर मुख्य मार्ग के आज्ञा गांव के समीप एक अनियंत्रित टाटा मैजिक ने एक बाइक पर सवार दो लोगों रौंद दिया। जिसमे बाइक के पीछे बैठे एक की मौत हो गई।और दुसरा गम्भीर रूप से घायल हो गया।घटना के सम्बन्ध में प्राप्त जानकारी के मुताबिक़ गोरियाकोठी थाना के छितौली कला गांव निवासी हरेन्द्र साह (55 वर्ष) व बिसुनदेव साह एक बाइक पर सवार होकर अपने घर शनिवार को अपने दूकान से खाना देकर आ रहे है। हरेन्द्र साह का खाद बीज का दूकान है। शहरकोला में इसी दूकान में खाना देकर छीतौली कला से अपने गांव लौट रहे थे की तभी बिपरीत दिशा से आ रही तेज रफ़्तार में टाटा मैजिक गाड़ी ने दोनों को रौंद डाला। आनन-फानन में ग्रामीणों के सहयोग से एक घायल हरेन्द्र साह को बेहतर इलाज के लिए सीवान सदर अस्पताल में भर्ती कराया गया। जहाँ पटना रेफर के दौरान हरेन्द्र साह ने दम तोड़ दिया। तथा दुसरा घायल बिसुनदेव साह का इलाज गोरियाकोठी प्राथमिक स्वास्थ केंद्र में चल रहा है।घटना के गाड़ी का ड्रावर गाड़ी छोड़ कर फरार हो गया है। उधर सुचना पाकर सदर अस्पताल में समाजसेवी श्री निवास यादव पहुँचे ।तथा अपनी देख रेख में मृतक हरेन्द्र साह का पोस्मार्टम कराकर उसके शव को परिजनों को सौंप दिया।और कहा की शोक समप्त परिवार वालों के साथ हूँ।साथ ही जिला प्रशासन से उचित मुआवजा देने की मांग भी की। श्री निवास यादव ने एम्बुलेंस भी उपलभ्ध कराये।बाद में नगर थाना में पदस्थापित दारोगा उज्ज्वल कुमार दल बल के साथ सदर अस्पताल पहुँचे। तथा मृतक के पुत्र सुमित कुमार के फर्द ब्यान पर टाटा मैजिक के ड्रावर के विरुद्ध प्राथमिकी दर्ज कराई है। बतादें की गोरियाकोठी थाना पुलिस ने दुर्घटना ग्रस्त वाहन को जपत भी कर लिया है। बतादे की मृतक हरेन्द्र साह बाइक के पीछे बैठे थे और बिसुनदेव साह बाइक चला रहे थे।
शव पहुंचते ही गांव में मचा कोहराम
और जैसे ही हरेन्द्र साह का शव पोस्मार्टम के बाद उसके पैतृक गांव छितौली कला पहुँचा तो परिजनों के हृदय बिदारक चित्तकार से पूरा गांव में मातमी सन्नाटा पसर गया। मृतक का बड़ा पुत्र अमित कुमार जो विदेश में है।छोटा पुत्र सुमित कुमार जो शहरकोला बाजार स्तिथ अपने खाद बीज का दूकान सम्भालते थे। मृतक की पत्नी कौशल्या देवी का देहांत 2003 में हो गया है। मृतक अपने पीछे दो पुत्र व पांच पुत्री को छोड़ गए।
गांव में मिलनसार के रूप में थी पहचान
हरेन्द्र साह अपने गांव व आस-पास के इलाको में इनकी एक अलग पहचान थी। वे मिलसार के रूप में जाने जाने थे। अब दो पुत्र के सर से साया पहले मां का उठा। अब अचानक पिता का भी सर से साया उठ जाने से दोनों अनाथ हो गये।पिता की लाचारी व बेबसी देख बड़ा पुत्र अमित कुमार अपने कई सपने संजोय बिदेश गया हुआ था।लेकिन पिता की मौत की खबर पाकर वह बिदेश से आ रहा है।जिससे उसके सपने पल भर में टूट गए।