पटना: भागलपुर विस्फोट मामले का मुख्य आरोपी मोहम्मद आजाद धमाके वाले दिन से फरार था। जिस मकान में धमाका हुआ, वो उसका मकान मालिक था। आजाद ने ये घर लीलावती से खरीदा था। इसके बाद भी लीलावती को किराये पर रखे हुए था। विस्फोट के बाद से फरार हुए आजाद की गतिविधि को लेकर पुलिस लगातार छापेमारी और कार्रवाई कर रही थी। सोमवार को आजाद ने कोर्ट में सरेंडर कर दिया है। मो. आजाद ने ACGM 7 आरके राणा के कोर्ट में सरेंडर किया है।
जांच में पता चला था कि मोहम्मद आजाद ही लीलावती को बारूद की सप्लाई करता था। पटाखा बनाने के अवैध कारोबार में दोनों पार्टनर थे, ऐसी भी सूचना पुलिस को हाथ लगी थी। बता दें कि काजवली चक में हुए विस्फोट में चार मकान जमींदोज हो गए थे। वहीं, इस हादसे में 15 लोगों की मौत हो गई। मृतकों में एक 18 माह का बच्चा भी शामिल रहा। मुख्य आरोपी में लीलावती का नाम भी है। लीलावती, मुकेश मंडल और मोहम्मद आजाद को आरोपित किया गया था। लीलावती की धमाके में मौत हो गई थी।
SSP बाबूराम ने बताया कि मो.आजाद को पकड़ने के लिए सभी स्तर से दबाव बनाया गया था। इस घटना को लेकर पूरा दबाव बनाया गया था। समाजिक के साथ पारिवारिक दबाव बनाया गया था। इसके बाद कोर्ट में सरेंडर किया है।