छपरा: जिले मे कोरोना के महामारी से निपटने के लिए सभी सरकारी व गैर सरकारी संस्थानों व कार्यालयों को तंबाकू मुक्त घोषित कर दिया गया है। गुटखा या तंबाकू खाकर इधर-उधर थूकने पर जुर्माने का भी प्रावधान किया गया है। गुटखा तंबाकू बेचने व खाने वालों के खिलाफ कार्रवाई का भी प्रावधान है। जिसके तहत स्वास्थ्य विभाग के जिला गैर संचारी रोग पदाधिकारी डॉ. हरिशचंद्र प्रसाद के नेतृत्व में जिले के बनियापुर प्रखंड के जनता बाजार मार्केट में छापेमारी अभियान चलाया गया। लोकल पुलिस के सहयोग से गुटखा व तंबाकू बेचने वाले 8 दुकानदारों से 200-200 रूपये की जुर्माने की वसूली की गयी। एनसडीओ डॉ. हरिशचंद्र प्रसाद ने बताया अगर दुबारा गुटखा या तंबाकू बेचते पकड़े गये तो दो हजार रूपये का फाइन किया जायेगा। उन्होने कहा, गुटखा व तंबाकू खाकर इधर-उधर थूकने से कोरोना का संक्रमण फैलने की आशंका बढ़ जाती है। जिसको रोकने के लिए यह अभियान चलाया जा रहा है।
तंबाकू सेवन से बढ़ता मुंह का कैंसर का खतरा
एनसीडीओ डॉ. एचसी प्रसाद ने बताया तंबाकू का किसी भी तरह से सेवन कैंसर का कारक बन रहा है। इसमें भी पान मसाले के साथ तंबाकू मिलाकर सेवन करना, खैनी खाने से मुंह के कैंसर के केस तेजी से बढ़ रहे हैं। अब यह युवाओं में भी देखने को मिल रहा है। हाल ही में विश्व स्वास्थ्य संघठन और भारत सरकार द्वारा प्रकाशित GATS 2 के सर्वे में बिहार में तम्बाकू सेवन करने वालों में कमी आई है, यह आंकड़ा पिछले 7-8 साल में 53.5% से घट कर 25.9% हो गया है। जिसमें चबाने वाले तम्बाकू सेवन करने वालों का प्रतिशत 23.5% है.
कोरोना से बचने के लिए उठाया गया कदम
एनसीडीओ डॉ. एचसी प्रसाद ने बताया तंबाकू का सेवन जन स्वास्थ्य के लिए बड़े खतरों में से एक है। थूकना एक सार्वजनिक स्वास्थ्य खतरा है और संचारी रोग के फैलने का एक प्रमुख कारण है। तंबाकू सेवन करने वाले की प्रवृति यत्र-तत्र थूकने की होती है। थूकने के कारण कई गंभीर बीमारी यथा कोरोना, इंसेफलाइटिस, यक्ष्मा, स्वाइन फ्लू आदि का संक्रमण फैलने की आशंका रहती है। भा.द.वि. (IPC) की धारा 268 एवं 269 के तहत कोई भी व्यक्ति यदि महामारी के अवसर पर उपेक्षापूर्ण अथवा विधि विरूद्ध कार्य करेगा जिससे जीवन के लिए संकटपूर्ण रोग का संक्रमण हो सकता है तो उसे छह माह का कारावास एवं अथवा 200 रुपये जुर्माना किया जा सकता है।
तंबाकू चबाने वालों पर भी है कोरोना वायरस का खतरा
तंबाकू चबाने वालों में मुख्य रूप से गैर संचारी रोग जैसे- कैंसर, फेफड़े की गंभीर बीमारी और मधुमेह का सबसे अधिक खतरा होता है। ऐसे में कोरोना वायरस की चपेट में आने के बाद तंबाकू चबाने वालों में गंभीर श्वसन संक्रमण रोग होने का खतरा रहता है।
फेफड़ों को गंभीर रूप से प्रभावित करता है धूम्रपान
धूम्रपान फेफड़ों को गंभीर रूप से प्रभावित करता है। इससे इम्यूनिटी कमजोर होती है शरीर की बीमारियों से लड़ने की क्षमता कमजोर हो जाती है। धूम्रपान, ई-सिगरेट, धुआं रहित तंबाकू, पान मसाला और इस तरह के उत्पादों का उपयोग फेफड़ों के संक्रमण के जोखिम और गंभीरता को बढ़ा देते हैं।
कोविड-19 से बचाव के लिए इन बिंदुओं पर विशेष ध्यान
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